आजकल के भागदौड़ भरे जीवन में अनेक सवाल उठते हैं कि क्या हम अपने शरीर को पूरी तरह से स्वस्थ रख पा रहे हैं ? क्या हमारे खाने के अंदर छिपे विषैले पदार्थों या टॉक्सिन्स के कारण हमारे शरीर को नुकसान हो रहा है? मॉडर्न लाइफस्टाइल और खान-पान के बदलते तरीके हमारे शरीर के लिए नुकसानकारी साबित हो सकते हैं।
इसलिए करनालप्लस के इस आर्टिकल में Naturopath Sandeep Yogacharya से जानेंगे एक ऐसा चमत्कारी तरीका जिसमे सिर्फ एक कांसे की कटोरी की मदद से शरीर को डिटॉक्स और लिवर के सारे टॉक्सिन्स को बाहर निकाल कर खुद को रोग मुक्त बनाया जा सकता है।
हमारे शरीर में विषैले पदार्थ या टॉक्सिन्स जमा होने के कारण क्या हैं
जंक और प्रोसेस्ड फूड: आधुनिक खान-पान के अनुसार बने जंक फूड और प्रोसेस्ड खाद्य पदार्थों में अधिक मात्रा में विषैले तत्व होते हैं। इसके अलावा, बढ़ते तेजी से फूड चुनौतियों के कारण हम अपनी आहारिक आदतों में पौष्टिकता की कमी को भी अनदेखा कर देते हैं।
अव्यवस्थित जीवनशैली: आधुनिक जीवनशैली में व्यस्तता, समय की कमी और तनाव के कारण लोग अपने शरीर का ध्यान नहीं रख पाते हैं। व्यायाम की कमी, प्राकृतिक चीजों से दूरी, और नियमित आराम की कमी भी विषैले पदार्थों का कारण बनती हैं।
प्रदूषण: वायु, पानी, और भूमि प्रदूषण भी हमारे शरीर में विषैले पदार्थों को प्रवेश कर सकते हैं। उदाहरण के लिए, वायु में धूल, धुएं, और विभिन्न धातुओं के छोटे टुकड़े हमारे फेफड़ों तक पहुंच सकते हैं और उन्हें नुकसान पहुंचा सकते हैं।
अनियमित आहार और पानी की आपूर्ति: अनियमित खाने के अभ्यास और पर्याप्त पानी के अभाव से भी हमारे शरीर में विषैले पदार्थ बढ़ जाते हैं।
ये थे कुछ मुख्य कारण जो हमारे शरीर में विषैले पदार्थों के प्रवेश का कारण बन सकते हैं। इससे बचने के लिए हमें स्वस्थ जीवनशैली अपनानी चाहिए जो समय-समय पर विश्राम, पौष्टिक आहार, और नियमित व्यायाम के साथ संतुलित हो।
कांसे की कटोरी से शरीर को डिटॉक्स करने का तरीका
जिन लोगों को वात संबंधित रोग हैं जैसे जोड़ों का दर्द, दिल से जुड़ी समस्या आदि हो, वो पैर के तलवे पर तिल का तेल लगा कर ऊपर कुछ देर कांसे की कटोरी से अच्छी तरह रगड़ें। ऐसा करने पर शरीर में कहीं भी दर्द हो तो उससे आराम मिलता है।
जिन लोगों को नींद ना आने की समस्या हो, एसिडिटी हो या पेट की गर्मी से परेशान हो, वो देसी गाय का घी पैर के तलवों पर डाल कर, कांसे की कटोरी से अच्छी तरह से रगड़ें।
खांसी, नजला या जुकाम से पीड़ित लोग पैर के तलवों पर तिल का तेल या सरसों के तेल का इस्तेमाल कर सकते हैं। तलवे पर तेल लगाने के बाद कांसे की कटोरी से तलवे अच्छी तरह से रगड़ने हैं।
कांसे की कटोरी को पैरों पर कम से कम 5 मिनट के लिए रगड़ना है। इस क्रिया को आयुर्वेद में पाद अभ्यंग कहते हैं। इस प्रक्रिया को घर पर भी किया जा सकता है। इससे शरीर के विषैले पदार्थ बाहर निकालने के लिए प्रयोग किया जाता है। इससे हमारा शरीर डिटॉक्स तो होता ही है। साथ ही साथ कई अन्य समस्याओं से भी आराम मिलता है।
आशा है आपको हमारा ये ब्लॉग पसंद आया होगा। धन्यवाद और सदा स्वस्थ रहें !
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